Manuscript Number : GISRRJ225338
राजकमल चैधरी के काव्य में मूल्य चेतना
Authors(1) :-डॉ राकेश चंद्र समकालीन लेखकों में लोकप्रिय राजकल चैधरी ने प्रयोगधर्मी एवं लोक से हटकर काव्य सर्जना की है। ये समकालीन कविता में निषेध और अकविता के पक्षधर कवि माने जाते हैं। इनका जन्म उत्तरी बिहार में मुरलीगंज के समीपवर्ती गाँव रामपुर हवेली में हुआ था। इनका वास्तविक नाम मणीन्द्र नारायण चैधरी था लेकिन स्नेहपूर्वक लोग इन्हें फूलबाबू कहकर पुकारते थे। अल्पायु में माँ त्रिवेणी देवी के असामयिक निधन का इन पर गहरा प्रभाव पड़ा और माँ के प्यार की कमी को इन्होंने सदैव महसूस किया। हम व्यस्क विमाता के आ जाने से पिता के साथ इनके सम्बन्धांे पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ा। पिता को उनके दूसरे विवाह के लिए इन्होंने कभी माफ नहीं किया। इनका विवाह शशिकांता चैधरी से हुआ जिनका इनके जीवन पर गहरा प्रभाव पड़ा। इन्होंने आजीविका के लिए पटना सचिवालय के शिक्षा विभाग में नौकरी की। इन्होंने मृत्युपर्यन्त कलकत्ता में पत्रकार, लेखक, अनुवादक, कवि के तौर पर लेखन कार्य किया।
डॉ राकेश चंद्र Publication Details Published in : Volume 6 | Issue 3 | May-June 2023 Article Preview
एसोसिएट प्रोफेसर, हिंदी विभाग, जे वी जैन कालेज, सहारनपुर, भारत।
Date of Publication : 2023-06-12
License: This work is licensed under a Creative Commons Attribution 4.0 International License.
Page(s) : 80-85
Manuscript Number : GISRRJ225338
Publisher : Technoscience Academy
URL : https://gisrrj.com/GISRRJ225338